नई दिल्ली (एडीएनए)।
प्रोजेक्ट 19ए स्टील्थ फ्रिजेट के तहत दो युद्धपोत उदयगिरी और हिमगिरी 26 अगस्त को भारतीय वायुसेना के बेड़े का हिस्सा बनेंगे। विशाखापत्तनम में भारतीय नौसेना के बेड़े में अत्याधुनिक साजो-सामान से लैस दोनों युद्धपोत एक साथ शामिल होंगे। संबंधित अधिकारियों ने की मानें तो एविएशन के इतिहास में पहली बार होगा जब दो युद्धपोत एक साथ वायुसेना का हिस्सा बनेंगे। इसकी तैयारियों में वायुसेना जोर-शोर से लगी हुई हैं वहीं, रक्षा मंत्रालय एक अधिकृत बयान जारी करते हुए कहा कि नौसेना के बेड़े में इन दोनों युद्धपोत के शामिल होने से सुरक्षा चक्र मजबूत होगा। दोनों युद्धपोत सुरक्षा के उच्चतम मानकों का पालन करेंगे। गैस इंजन और डीजल इंजन से चलने वाले इन युद्धपोतों पर सुपरसोनिक सतह से सतह तक मार करने वाली मिसाइलें भी लगी हैं। यह मिसाइलें मध्यम दूरी तक सतह से हवा में मार करने में पूरी तरह से समक्ष है। इनका निशाना इतना अचूक है कि इन्हें लक्ष्य भेदने के लिए दोबारा निर्देशित नहीं करना है। इसके अलावा 76 एमएम की एमआर गन से दोनों पोत लैस हैं। पनडुब्बी रोधी और पानी के भीतर हमला करने में भी सक्षम हैं। नौसेना के सूत्रों की मानें तो दोनों युद्धपोत के निर्माण में 200 से अधिक सूक्ष्म लघु उद्योगों की भूमिका कई मायनों में खास रही। इसमें इंजन, फायर फाइटिंग और संचार प्रणाली की गुणवत्ता आला दर्जे की है।